खगड़िया नगर परिषद से बर्खास्त जेई का डिग्री जांच में निकला फर्जी …नियमों को ताक पर रखकर मनमाने तरीके से की गई थी नियुक्ति: अर्चना कुमारी…

खगड़िया नगर परिषद से बर्खास्त कनीय अभियंता का डिग्री जांच में निकला फर्जी …नियमों को ताक पर रखकर मनमाने तरीके से की गई थी नियुक्ति: अर्चना कुमारी...

खगड़िया/ कौशी एक्सप्रेस/ नप कार्यालय से प्राप्त सूचनानुसार फर्जी डिग्री के सहारे नगर परिषद खगड़िया में जेई के पद पर कार्यरत रौशन कुमार की डिग्री का पर्दाफाश हो गया है। जिस डिग्री के सहारे उक्त कनीय अभियंता रौशन कुमार नगर परिषद खगड़िया में करीब 10 वर्षों तक कनीय अभियंता के पद पर नौकरी की वह डिग्री ही फर्जी साबित हो गई। मालूम हो कि नगर सभापति अर्चना कुमारी द्वारा राज तकनीकी शिक्षा बोर्ड बिहार से रोशन कुमार का डिप्लोमा मार्कशीट प्रमाण पत्र का सत्यापन हेतु मांगे गए जवाब में राज्य तकनीकी शिक्षा बोर्ड बिहार ने रोशन कुमार के मार्कशीट एवं सर्टिफिकेट को ही जाली और फर्जी साबित कर दिया है। जिसके बाद से ही खगड़िया के प्रशासनिक विभाग में हड़कंप मच गया है। वहीं इस मामले को लेकर कई पदाधिकारी भी जांच के घेरे में हैं। आखिर कैसे फर्जी डिग्री के सहारे कोई व्यक्ति लगातार 10 वर्षों तक एक ही कार्यालय में नौकरी करता रहा।

*कैसे मिली रौशन को नौकरी*
कनीय अभियंता के रिक्त पद पर नियुक्त हेतु नगर परिषद खगड़िया कार्यालय के पत्रांक-2095 दिनांक-19.08.2013 द्वारा विज्ञापन प्रकाशित कराया था। उस नियुक्ति हेतु कुल 28 आवेदन प्राप्त हुआ, जिसमें तीन अनुपस्थित थे। इस नियुक्ति के लिए रौशन कुमार ने भी अपना आवेदन दिया था, परन्तु बोर्ड की बैठक के प्रस्ताव सं0-07 (ii) में पारित निर्णय के आलोक में नियुक्ति प्रक्रिया रद्द कर दी गई। जिसके बाद तत्कालीन पदाधिकारी के द्वारा स्वयं संज्ञान लेते हुए सशक्त स्थायी समिति का अनुमोदन प्राप्त कर वर्ष 2014 में रौशन कुमार को नगर परिषद खगड़िया के द्वारा ₹1100 प्रति कार्य दिवस के आधार पर रखा गया था। जिसके बाद सशक्त स्थायी समिति द्वारा किये गये अवधि विस्तार के बाद उन्हें 22 हजार रूपया प्रतिमाह की दर पर रखा गया। जिसके बाद से जेई रौशन कुमार लगातार वर्ष 2025 तक कार्यरत रहे। उसके बाद नगर सभापति अर्चना कुमारी एवं सशक्त स्थाई समिति के द्वारा कनीय अभियंता रौशन कुमार को हटाने की अनुशंसा कर दी गई। अनुशंसा के बाद रौशन कुमार को नगर परिषद खगड़िया के कनीय अभियंता के पद से बर्खास्त कर दिया गया था।

*कैसे हुआ खुलासा*
नगर परिषद खगड़िया की सभापति अर्चना कुमारी एवं सशक्त स्थायी समिति के सदस्यों के द्वारा कनीय अभियंता रौशन कुमार को हटाए जाने के बाद पूरे मामले में एक नया मोड़ आ गया। कनीय अभियंता रौशन कुमार ने अपने बचाव में न्यायालय में एक वाद दायर करवा दिया। जिसके बाद से ही उनकी डिग्री को लेकर तरह तरह की चर्चाएं तेज होने लगी। जिसके बाद उनके डिग्री की जांच को लेकर नगर सभापति अर्चना कुमारी ने आवेदन दे दिया। जिसके बाद उनके डिग्री की गहन जांच में उनके डिप्लोमा की सारी डिग्रियां ही फर्जी साबित हो गई।

नियमों को ताक पर रखकर मनमाने तरीके से की गई थी नियुक्ति: अर्चना कुमारी*
नगर सभापति अर्चना कुमारी ने कहा कि वर्ष 2014 में तत्कालीन नगर परिषद अध्यक्ष एवं संबंधित अधिकारियों के द्वारा नियोजन में विहित प्रक्रिया का पालन नहीं करते हुए मनमाने तरीके से सशक्त स्थायी समिति के अनुमोदन के आधार पर रोशन कुमार को कनीय अभियंता के पद पर रख लिया गया। मनमाने तरीके से बहाल हुए कनीय अभियंता रौशन कुमार के द्वारा नगर परिषद को लूट का अड्डा बना दिया गया था। उनके मनमानी से क्षुब्ध होकर सशक्त स्थायी समिति के सदस्यों ने इन्हें बर्खास्त कर दिया था। अब इनकी डिग्रियां भी फर्जी एवं जाली साबित हो गई है।

*फर्जी तरीके से बहाल हुए कनीय अभियंता पर दर्ज को मुकादमा : शबनम जबीन*

वहीं इस पूरे मामले को लेकर नगर परिषद की उपसभापति शबनम जबीन ने कहा कि फर्जी तरीके से बहाल होकर नगर परिषद खगड़िया को लूट का अड्डा बनाने वाले कनीय अभियंता रौशन कुमार पर विधि सम्मत करवाई की जाय।

 

नोट- प्रसारित समाचार की जिम्मेवारी प्रेस की नहीं है तथा विज्ञापनों की प्रामाणिकता से प्रेस का कोई सबंध नहीं है – संपादक
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